भिलाई नगर निगम:अब जोन से भी न्यू संपत्तिकर आईडी नंबर होगा जारी, करदाताओं को कर जमा करने में होगी आसानी

भिलाईनगर.नगर पालिक निगम भिलाई क्षेत्र अंतर्गत राजस्व वसूली के संबंध में आयुक्त ऋतुराज रघुवंशी द्वारा बैठक ली गई थी, इस बैठक में आयुक्त महोदय ने राजस्व वसूली को लेकर गहरी नाराजगी व्यक्त की थी जिसके बाद लगातार राजस्व की वसूली को लेकर समीक्षा बैठकों का दौर जारी है! दिनांक 16 दिसंबर को उपायुक्त अशोक द्विवेदी ने भी राजस्व विभाग के अधिकारियों, जोन के आयुक्त एवं स्पैरो सॉफ्टेक प्रा. लिमिटेड के कर्मचारियों की बैठक लेकर महत्वपूर्ण निर्देश दिए थे, बैठक में उन्होंने निगम क्षेत्र अंतर्गत डोर टू डोर संपत्तिकर, समेकितकर, जलकर, विज्ञापन कर, यूजर चार्ज इत्यादि की वसूली कार्य हेतु स्पैरो को आदेशित किया था।
अब जोन में भी न्यू संपत्तिकर आईडी नंबर होगा जारी- बैठक में यह पाया गया कि सभी जोन कार्यालयों में मैसर्स स्पैरो सॉफ्टेक प्राइवेट लिमिटेड के द्वारा राजस्व करों के भुगतान हेतु काउंटर तो स्थापित किया गया है परंतु जोन कार्यालय में करदाता अपने स्वामित्व के भवन/भूमि और संपत्तिकर जमा करने के लिए करदाता को न्यू संपत्ति कर आईडी कोड जनरेट कराने मुख्य कार्यालय आना पड़ता है! इसलिए उपायुक्त द्विवेदी ने न्यू संपत्ति कर आईडी नंबर जोन स्तर पर भी जारी किए जाने के निर्देश जोन आयुक्तों को दिए हैं साथ ही निगम क्षेत्र अंतर्गत स्थित भवनों/भूमियों में संपत्तिकर आईडी नंबर के साथ-साथ उपभोक्ता कोड भी जोन क्षेत्रों में जनरेट कराए जाने के लिए कहा है! इस व्यवस्था से करदाताओं को संबंधित जोन क्षेत्रों में कर जमा करने में आसानी होगी!
संपत्तिकर में अंतर तो 5 गुना शास्ती- निगम क्षेत्र अंतर्गत स्थित भवनों/भूमियों की वित्तीय वर्ष 2018-19 में प्राप्त स्व विवरणी की जांच नियम के तहत की जा रही है जिसमें संपत्तिकर में 10% से अधिक अंतर पाए जाने पर 5 गुना शास्ती अधिरोपित किए जाने का प्रावधान है! जोन क्रमांक 1 द्वारा 100 प्रकरण, जोन क्रमांक 2 द्वारा 137 प्रकरण, जोन क्रमांक 3 द्वारा 5 प्रकरण, जोन क्रमांक 4 द्वारा 3 प्रकरण तथा जोन क्रमांक 6 द्वारा 52 प्रकरण संपत्तिकर से संबंधित स्व विवरणी के मुख्य कार्यालय में प्रेषित किया जाकर इनके स्व विवरणी का परीक्षण किया जाएगा।
बड़े बकायेदारों की खंगाली जा रही है सूची- ऐसे बड़े बकायेदारों की सूची जिन्हें नगर पालिक निगम अधिनियम 1956 की धारा 173 व 174 तथा साथ ही जिन्होंने निर्धारित समय अवधि के भीतर देय बकाया राजस्व करों का भुगतान नहीं किया गया है, इनकी सूची पृथक की जा रही है ताकि इन बकायेदारों पर नगर पालिक निगम अधिनियम 1956 की धारा 175 के तहत कठोर कार्रवाई की जा सके।
टैक्स जमा नहीं करने वाले नल कनेक्शन धारियों के नल कनेक्शन होंगे विच्छेद- ऐसे नल कनेक्शनधारी जिनके यहां नल कनेक्शन दिया गया है और इस नल के माध्यम से उनके द्वारा पानी प्राप्त किया जा रहा है, परंतु वे टैक्स जमा नहीं कर रहे हैं इस प्रकार के नल कनेक्शन धारियों के नल को विच्छेद करने के निर्देश बैठक में दिए गए! और ऐसे अवैध नल कनेक्शनधारी जो अपने कनेक्शन को अभी तक वैध कराकर नियमितीकरण नहीं करा पाए हैं वह जोन कार्यालय में संपर्क कर नियमितीकरण की प्रक्रिया पूर्ण कर सकते हैं! राजस्व वसूली के लिए बीते दिन गुरुवार को उपायुक्त टीपी लहरें ने भी बैठक ली जिसमें जोन के जोन आयुक्त, मुख्य कार्यालय के राजस्व विभाग के अधिकारी/कर्मचारी, जोन के राजस्व अधिकारी एवं स्पैरो सॉफ्टेक प्रा. लिमिटेड के लोग मौजूद रहे।

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