ढौर के ग्रामीणों ने जनसुनवाई में किया चुना पत्थर खदान खोले जाने का विरोध



पाटन। क्षेत्रीय कार्यालय, छत्तीसगढ़ मंडल पर्यावरण संरक्षण मंडल, भिलाई द्वारा आयोजित लोक सुनवाई मेसर्स रामा बिल्डकॉन एंड रियल स्टेट प्राइवेट लिमिटेड प्रो कमल कुमार अग्रवाल ढौर तहसील – पाटन, जिला – दुर्ग स्थित खसरा क्रमांक – 434 / 1, 434/2, 434/3, 434/4, 434/5, 434/6, 434/7, 434/8, 434/9, 434/10, 434/11, 434/12, 434/13, 434/14, 453/1 (1), 471 (91), 560/2 (पार्ट), 455, 456, 458/1 (पार्ट), 469 (पार्ट), 561/1 (पार्ट), 561/2,561/3 (पार्ट) 561/5 (पार्ट) एवं 561/6, कुल क्षेत्रफल – 9.94 हेक्टेयर में प्रस्तावित चुना पत्थर (गौण खनिज उत्खनन क्षमता – 2,00,000 टन प्रतिवर्ष के पर्यावरणीय स्वीकृति हेतु लोक सुनवाई बुधवार को ग्राम ढौर में अरविंद कुमार एक्का अपर कलेक्टर एवं क्षेत्रिय पर्यावरण अधिकारी की उपस्थिति में हुआ।
पर्यावरण स्वीकृति हेतु सबसे पहले विभाग द्वारा प्रस्तावित स्थल के बारे में उपस्थित जनों को विस्तार से बतलाया गया। उसके बाद जनसुनवाई में उपस्थित जनों से प्रस्तावित चुना पत्थर खनन के लिये लिखित या फिर मौखिक सुझाव मांगा गया। उपस्थित ग्रामीणों एवं किसानों ने चुना पत्थर खनन की स्वीकृति देने का जमकर विरोध करते हुए कहा कि कृषि भूमि के समीप खदान खोले जाने से जमीन बंजर हो सकता है। ब्लास्टिंग के परिणाम से जमीन कभी भी धंस सकती है। आस पास के कृषि भूमि पर मजदूर जाने से मना कर सकते है। धूल के कारण स्वास्थ्य पर भी विपरीत प्रभाव पड़ सकता है। हाइवा ट्रक गाँव के बस्ती से होकर गुजरेगी जिसके कारण बस्ती में जानमाल की हानि हो सकती है। जिस जमीन में प्रस्तावित खदान है वह कृषि भूमि है। वहां पर जमीन मालिक चुना पत्थर खदान की जगह कृषि कार्य करें। ग्रामीणों ने खदान खोले जाने का विरोध करते हुए कहा अगर पुराने पंचायत ने अनुमति दिया है तो उसे नया पंचायत प्रतिनिधियों द्वारा कृषकों के हित में चुना पत्थर का परमिशन नही देने की मांग किया। ग्रामीणों ने कहा कि पूर्व में स्थापित खदानों में ग्रामीणों को रोजगार दिए जाने की बात की गई थी लेकिन संचालित खदानों में ग्रामीणों को रोजगार नही दिया गया है।

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