- राज्य के अर्थव्यवस्था में तिगुना रफ्तार की संभावित गणना के साथ सीएसवीटीयू ने छत्तीसगढ़ औद्योगिक नीति 2024-30 के लिए दिया सुझाव जिसे राज्य सरकार ने किया स्वीकार
भिलाई। राजकीय छत्तीसगढ़ स्वामी विवेकानंद तकनीकी विश्वविद्यालय,भिलाई के सलाहकार किशोर कुमार भारद्वाज ने तत्कालीन कुलपति प्रोफे. वर्मा की निगरानी में प्रदेश में उपलब्ध खनिजों से बनने वाले उत्पादों के वैश्विक मांग,आपूर्ति,उत्पादन,आयात-निर्यात,दर आदि सभी प्रकार के पहलूओं का अध्ययन कर रिसर्च रिपोर्ट सौंपा था जिसमें उन्होंने लौह अयस्क से बनने वाले स्पेशलिटी स्टील (स्टेनलेस स्टील) उत्पाद को बनाने के लिए प्रदेश में स्थापित होने वाले नवीन / शवलीकरण उद्योगों को प्रदेश के औद्योगिक नीति के तहत अनुदान प्रदान करने सहित ईजी टू बिजनेस मॉडल के दायरे में लाने का प्रस्ताव दिया था। जिसे वाणिज्य एवं उद्योग विभाग छत्तीसगढ़ शासन द्वारा स्वीकार करते हुए औद्योगिक विकास नीति 2024-30 में थ्रस्ट सेक्टर उद्यमों की सूची में शामिल करते हुए स्टेनलेस स्टील एवं उसके उत्पाद, फेरस/नॉन फेरस मेटल पर आधारित डाउन स्ट्रीम उत्पाद, एलॉय स्टील एवं उसके उत्पाद से जुड़े औद्योगिक इकाइयों को औद्योगिक विकास नीति 2024-30 में शामिल किया गया है।
श्री भारद्वाज के अनुसार लौह अयस्क, कोयला सहित अन्य खनिज संपदा से भरपूर छत्तीसगढ़ राज्य में औद्योगिक विकास से प्रदेश की अर्थव्यवस्था में बढ़ोतरी हो इसके लिए लौह अयस्क से बनने वाले स्पेशलिटी स्टील उत्पादों हेतु उद्योगों को अनुदान देते हुए औद्योगिक नीति 2024-30 में शामिल करने का विस्तृत सुझाव विश्वविद्यालय की ओर से दिया था।
श्री भारद्वाज के प्रयास से औद्योगिक विकास नीति में स्टील उद्योग को विभिन्न तरह के अनुदान प्रदान करने सहित ईजी टू बिजनेस मॉडल के दायरे में शामिल किए जाने पर छत्तीसगढ़ राज्य में स्थापित स्टील उद्योगों के एसोशिएशन ने तकनीकी विश्वविद्यालय के सलाहकार( अभियांत्रिकी) किशोर कुमार भारद्वाज का हर्षपूर्वक आभार व्यक्त करते हुए भविष्य में सीएसवीटीयू और छत्तीसगढ़ प्रदेश स्टील एसोसिएशन के मध्य समन्वय स्थापित करते हुए विश्वविद्यालय के छात्रों का कौशल उन्नयन,प्रायोगिक शिक्षा में सहयोग, उद्योग कर्मियों के प्रशिक्षण सहित अन्य क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग का आश्वासन दिया है।