- मौके पर सरपंच का बयान नही लेने पर जांचकर्ता के सामने शिकायतकर्ताओं ने किया विरोध दर्ज
पाटन। जनपद पंचायत पाटन के बहुचर्चित ग्राम पंचायत में पंचों एवं ग्रामीणों ने सरपंच के खिलाफ निर्माण कार्यों में हुए अनियमितता को लेकर कलेक्टर दुर्ग एवं एसडीएम पाटन को सरपंच को धारा 40 के तहत बर्खास्त करने की मांग किया था।
ग्रामीणों एवं पंचों ने सरपंच हेमंत ठाकुर के खिलाफ शिकायत किया था कि उनके द्वारा गाँव के शासकीय भवन महिला सदन,सांस्कृतिक भवन,कांजी हाऊस एवं दुर्गा कला मंच को शासन की अनुमति के बगैर तोड़े जाने का शिकायत,राशि आहरण करने के बाद दो माह बाद भी काम शुरू नही करना,ग्राम पंचायत में बने अतिरिक्त के साथ सलग्न अवैध निर्माण की जांच के सम्बंध में शिकायत किये थे। शिकायत की जांच करने शुक्रवार को जांचकर्ता कन्हैया लाल मन्नाडे,झंकार नागवंशी,वाय.के. दुबे जांच करने पहुंचे थे।
जांचकर्ता द्वारा शिकायत कर्ताओं से लिखित में बयान दर्ज किया गया एवं जिस कार्यों की शिकायत किया गया था उसका मौका निरीक्षण भी किया गया। लेकिन जांचकर्ता द्वारा सरपंच एवं सचिव का मौके पर बयान नही लिए जाने पर ग्रामीणों द्वारा जांचकर्ता के सामने विरोध दर्ज भी किया गया लेकिन जांचकर्ता उनकी बातों को अनसुनी करते हुए चले गए। जिसके बाद ग्रामीणों ने मोबाइल के माध्यम से मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत पाटन को जांचकर्ता द्वारा जांच के सम्बंध में मौखिक सूचना दिया गया। जिस पर सीईओ ने इस सम्बंध में जानकारी लेने की बात कही।
पहले अविश्वास प्रस्ताव के लिए आवेदन दिए मतदान में सरपंच के पक्ष में किये मतदान
गौरतलब हो कि कुछ दिनों पूर्व ग्राम पंचायत अचानकपुर के 13 पंचों ने सरपंच के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के लिये अनुविभागीय अधिकारी को एवं धारा 40 के तहत बर्खास्तगी की मांग को लेकर हस्ताक्षर युक्त आवेदन दिया था। जिसमे से 11 पंचों ने सरपंच को हटाने मत दिया एक मत निरस्त एवं आवेदन करने वाले एक पंच ने सरपंच के पक्ष में मतदान किया था जिसके कारण सरपंच अपने कुर्सी बचाने में कामयाब रहे। सरपंच की कुर्सी बचने के बाद एक पंच ने सरपंच को बचाने अपने अहम योगदान होने की बात सोसल मीडिया एवं समाचार पत्रों में भी प्रकाशित करवाया था।